आज हम इस आर्टिकल में पेड़ काटने की कहानी के बारेमे जानने वाले है। जीवन में पेड़ो का कितना महत्व है वो आपको इस कहानी से पता चलेगा। ऐसी ही अनोखी कहानिया पढ़ने के लिए आप हमारी *23 Best Moral Story for Students in Hindi के पेज को फॉलो कर सकते है। इसमें हमें २३ अलग-अलग सिख से भरी कहानिया लिखी हुई है आप आरामसे पढ़ सकते है।
पेड़ काटने की कहानी हिंदी में | नैतिक कहानी | मोरल कहानी इन हिंदी
“पेड़ों की महक: लालच का सामना”
एक छोटे से गांव में एक लालची व्यापारी रहता था जिसका नाम राजू था। राजू की राजाओ महाराजाओ वाली आदते थे उसको हमेसा पैसो के पीछे भगता रहता था महेगे कपडे, महगी गाड़िया, सोना, चांदी पसंद था। राजू के ये शोख पर्यावरण के लिए भी बहोत खतरा थे।
गांव में एक सुंदर बाग़ था जिसमें अनेक पेड़-पौधे थे, परंतु राजू को यह सभी सुंदरता दिखाई नहीं देती थी क्योंकि उसकी नजरें सिर्फ महंगे चीजों की ओर ही रहती थीं।
एक दिन, गांव में एक व्यक्ति ने राजू से कहा, “भाई राजू, ये पेड़-पौधे हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं। इनमें से हमें ऑक्सीजन मिलती है, जो हमारे जीवन के लिए अत्यंत आवश्यक है।”
राजू ने मुस्कराते हुए कहा की मुझे तो सिर्फ सोने-चांदी का शौक है, इन पेड़ों का क्या काम?
ऐसी ही बाते सोच सोच कर वो पर्यावरण को नुकसान पहोचता था। लेकिन एक दिन बहोत काम करते करते राजू की तबियत बिगड़ जाती है। वो डॉक्टर के पास जाता है दवाई भी लेता है लेकिन वो इतना अच्छा महसूस नहीं कर पता जैसा वो पहले था।
धीरे धीरे राजू को अपने काम में भी मन नहीं लग रहा था। फिर वो गांव के एक संत के पास गया उसने उस संत को कहा की मेरी तबियत अब ठीक नहीं रहती है में क्या करू। वो संत ने बताया की तूने पर्यावरण को काफी नुकसान पहुंचाया है। तो पर्यावण में काफी प्रदुषण फेल गया है।
अब वो प्रदुषण हम सबको धीरे धीरे बीमार कर रहा है। में तुम्हे एक उपाय बताता हूँ वो तू आजमाके देखना। अगर तुम वो अच्छा लगे यानि की तुम्हारी तबियत में सुधार आने लगे तो तुम्हे मेरा भी एक काम करना पड़ेगा। तो मुझे वादा करो की तुम्हारा भला होगा तो तुम मेरा भी एक काम करके दोगे। राजू ने संत को वादा कर दिया।
संत ने बताया की तुम्हे काम सुबह ५ बजे उठके थोड़ा चलने के बाद जहा पेड़ पौधे लगे हो वह २ घंटा बैठना है। फिर तुम देखना तुम्हारी सारी आलश एक ही दिन में निकल जाएगी और तुम ठीक हो जाओगे।
राजू ने दूसरे दिन वो संत की बात मानते सारा काम किया वो जब उस पेड़ पौधों में बैठा तो उसके ऑक्सीजन की जो भी कमी लग रही थी उसको मिली वो एक दम से तरोताजा रहने लगा। वो ठीक होगया। वो अब संत के पास जाता है और कहता है की मेरा शरीर अब ठीक हो गया है।
तब उस संत ने कहा की तुम्हारे में ऑक्सीजन की कमी थी। तब जेक राजू को अपनी गलती का अहसास होता है की पेड़ को काटना गलत बात है। यदि आप पर्यावरण का रक्षण नहीं करोगे तो पर्यावरण भी आपका रक्षण नहीं करेगा।संत ने कहा की तुम्हे अब गांव वालो के साथ मिलकर पेड़ पौधे लगाने चाहिए।
वह समझ गया कि पेड़-पौधे हमारे जीवन के लिए कितने महत्वपूर्ण हैं और हमें उनकी सुरक्षा करनी चाहिए।
उसने गांववालों को जागरूक किया और साथ मिलकर एक सुंदर बाग़ बनाने का निर्णय लिया, जिसमें अनेक पेड़-पौधे थे। गांववालों ने राजू के साथ मिलकर पेड़ों की सफाई, पुनर्निर्माण, और संरक्षण का कार्य किया।
इसके बाद से, गांव का माहौल बदल गया और लोगों की सोच में परिवर्तन हुआ। राजू की बदली हुई सोच ने सबको प्रेरित किया और प्राकृतिक संसाधनों के साथ सहयोग करने की महत्वपूर्णता को समझाया।
इस पेड़ काटने की कहानी से आपको क्या सीखने को मिलता है?
“इस कहानी से हमें यह सिखने को मिलता है कि हमें लालच में आकर प्राकृतिक संसाधनों के साथ खिलवाड़ नहीं करना चाहिए, बल्कि हमें उनका सही रूप से उपयोग करना चाहिए ताकि हम भविष्य में भी अच्छे पर्यावरण को पा सके। नहीं तो हमारी अगली पेढी को अच्छा पर्यावरण देखने को ही नहीं मिलेगा। और हम अफ़सोस के आलावा कुछ हाथ नहीं आएगा।”